लंदन में पीएम मोदी का संबोधन: व्यापार, विस्तारवाद और आतंकवाद पर दिए ये 10 बड़े बयान

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भारत और ब्रिटेन के बीच एक ऐतिहासिक व्यापार समझौते का लक्ष्य 2030 तक द्विपक्षीय व्यापार को 120 अरब डॉलर तक दोगुना करना है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस समझौते को साझा समृद्धि, युवाओं के लिए नए अवसर और आतंकवाद के खिलाफ एकजुट रुख के रूप में महत्वपूर्ण बताया।

भारत और यूनाइटेड किंगडम ने गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और ब्रिटेन के प्रधानमंत्री कीर स्टार्मर की मौजूदगी में ‘फ्री ट्रेड एग्रीमेंट’ (Free Trade Agreement) नामक एक ऐतिहासिक व्यापार समझौते पर हस्ताक्षर किए। इस समझौते से वर्तमान 60 अरब डॉलर के द्विपक्षीय व्यापार को 2030 तक 120 अरब डॉलर तक दोगुना करने की उम्मीद है।

प्रधानमंत्री मोदी चार दिवसीय यात्रा पर ब्रिटेन और मालदीव गए हैं। यह उनका ब्रिटेन का चौथा दौरा है।

व्यापार समझौते पर औपचारिक हस्ताक्षर के बाद अपने संबोधन में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि वह बेहद खुश हैं कि वर्षों की कड़ी मेहनत के बाद दोनों देशों ने व्यापक आर्थिक और व्यापार समझौते (Comprehensive Economic and Trade Agreement) पर हस्ताक्षर किए हैं।

प्रधानमंत्री मोदी के लंदन में दिए गए शीर्ष उद्धरणों में से एक:

“आज हमारे द्विपक्षीय संबंधों के लिए एक ऐतिहासिक दिन है। मुझे खुशी है कि वर्षों की मेहनत के बाद आज हमारे दोनों देशों ने व्यापक आर्थिक और व्यापार समझौते पर हस्ताक्षर किए हैं।”

‘सिर्फ आर्थिक समझौता नहीं है ये’
यह समझौता केवल एक आर्थिक समझौता नहीं, बल्कि साझा समृद्धि की एक योजना है। एक ओर इससे भारतीय वस्त्र, जूते-चप्पल, रत्न व आभूषण, समुद्री उत्पाद और इंजीनियरिंग वस्तुओं को ब्रिटेन के बाजार में बेहतर पहुंच मिलेगी। साथ ही भारत के कृषि उत्पादों और प्रोसेस्ड फूड इंडस्ट्री के लिए ब्रिटिश बाजार में नए अवसर उत्पन्न होंगे।

– यह समझौता विशेष रूप से भारत के युवाओं, किसानों, मछुआरों और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (MSME) क्षेत्र के लिए लाभकारी होगा।
– वहीं भारतीय उपभोक्ताओं और उद्योगों को ब्रिटेन में बने मेडिकल डिवाइसेज़ जैसे उत्पाद अब सस्ती और किफायती कीमतों पर उपलब्ध हो सकेंगे।
– इसके साथ ही ब्रिटिश बाजार में भारत के कृषि उत्पादों और खाद्य प्रसंस्करण उद्योग के लिए नए अवसर सृजित होंगे।

आतंकवाद के खिलाफ एकजुट लड़ाई
– हम इस मत पर एकमत हैं कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में दोहरे मानदंडों के लिए कोई जगह नहीं होनी चाहिए।
– हम इस बात से भी सहमत हैं कि चरमपंथी विचारधाराओं वाली ताकतों को लोकतांत्रिक स्वतंत्रताओं का दुरुपयोग करने की अनुमति नहीं दी जा सकती।
– जो लोग लोकतंत्र की स्वतंत्रता का दुरुपयोग कर स्वयं लोकतंत्र को कमजोर करते हैं, उन्हें जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए।
– हमारे सुरक्षा एजेंसियां आर्थिक अपराधियों के प्रत्यर्पण जैसे मामलों में आपसी सहयोग और समन्वय को और अधिक मजबूत करती रहेंगी।

विस्तारवाद नहीं, विकास ज़रूरी
– आज के युग की माँग विस्तारवाद नहीं, बल्कि विकास है।
– सभी देशों की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान अनिवार्य है।
– हमने इंडो-पैसिफिक क्षेत्र में शांति और स्थिरता, यूक्रेन संघर्ष और पश्चिम एशिया की स्थिति पर निरंतर विचार साझा किए हैं।
– आज हमारे द्विपक्षीय संबंधों के लिए एक ऐतिहासिक दिन है। मुझे बेहद खुशी है कि वर्षों की मेहनत के बाद आज भारत और ब्रिटेन ने व्यापक आर्थिक और व्यापार समझौते (Comprehensive Economic and Trade Agreement) पर हस्ताक्षर किए हैं।

एयर इंडिया विमान दुर्घटना
– पिछले महीने अहमदाबाद में हुई विमान दुर्घटना में जिन लोगों की मृत्यु हुई, उनमें कई यूके के नागरिक भी शामिल थे। हम उनके परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हैं।
– यूके में रहने वाले भारतीय मूल के लोग हमारे द्विपक्षीय संबंधों में एक जीवंत पुल की तरह कार्य करते हैं।
– उन्होंने सिर्फ भारत से करी नहीं लाई, बल्कि रचनात्मकता, समर्पण और चरित्र भी साथ लाए।
– उनका योगदान केवल यूके की अर्थव्यवस्था तक सीमित नहीं है, बल्कि वहां की संस्कृति, खेल और सार्वजनिक सेवा में भी उनकी अहम भूमिका दिखाई देती है।

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